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इन लोगों को भूलकर भी नहीं खाना चाहिए पपीता, हो सकता है बहुत खतरनाक

December 28, 2021 at 09:20AM
फलों को पोषक तत्वों का खजाना कहा जाता है। इन्हीं में से एक पपीता भी है। पपीते के अंदर आपको विटामिन, फाइबर, और कई खनिज पदार्थ मिलते हैं। आज के समय में पपीते का फल हर मौसम में आसानी से मिल जाता है। वहीं पपीते को सलाद के तौर पर भी खाया जा सकता है। इसके अंदर मौजूद पोषक तत्वों के जरिए आपको डायबिटीज, हृदय रोग, कैंसर आदि से बचाकर रखते हैं।इसके अलावा पपीते में मौजूद फाइबर ना केवल आपके पेट को लंबे समय तक भरा हुआ रखता है। बल्कि यह वजन संतुलित करने और घटाने में भी आपकी सहायता करता है। लेकिन ऐसा भी नहीं है कि पपीते के केवल फायदे ही फायदे है। इसके कई नुकसान हैं जो कुछ श्रेणी के लोगों में देखने को मिल सकते हैं। ऐसे में हम आपको बताएंगे कि किन लोगों को पपीते का सेवन नहीं करना चाहिए।

फलों का सेवन करने की सलाह हमें अक्सर दी जाती है। लेकिन सभी फलों का सेवन आपके लिए फायदेमंद हो यह जरूरी नहीं है। ऐसा ही एक फल है पपीता जिसका सेवन आपके लिए नुकसानदायक हो सकता है। आइए जानते हैं किन लोगों को पपीता नहीं खाना चाहिए।


Papaya Side effects: इन लोगों को भूलकर भी नहीं खाना चाहिए पपीता, हो सकता है बहुत खतरनाक

फलों को पोषक तत्वों का खजाना कहा जाता है। इन्हीं में से एक पपीता भी है। पपीते के अंदर आपको विटामिन, फाइबर, और कई खनिज पदार्थ मिलते हैं। आज के समय में पपीते का फल हर मौसम में आसानी से मिल जाता है। वहीं पपीते को सलाद के तौर पर भी खाया जा सकता है। इसके अंदर मौजूद पोषक तत्वों के जरिए आपको डायबिटीज, हृदय रोग, कैंसर आदि से बचाकर रखते हैं।

इसके अलावा पपीते में मौजूद फाइबर ना केवल आपके पेट को लंबे समय तक भरा हुआ रखता है। बल्कि यह वजन संतुलित करने और घटाने में भी आपकी सहायता करता है। लेकिन ऐसा भी नहीं है कि पपीते के केवल फायदे ही फायदे है। इसके कई नुकसान हैं जो कुछ श्रेणी के लोगों में देखने को मिल सकते हैं। ऐसे में हम आपको बताएंगे कि किन लोगों को पपीते का सेवन नहीं करना चाहिए।



​गर्भावस्था में
​गर्भावस्था में

गर्भवती महिलाओं को अक्सर अपने खाने पीने का काफी ध्यान रखना होता है। लेकिन गर्भवस्था के दौरान उन्हें पपीते के सेवन से पूरी तरह बचना चाहिए। ऐसा इसलिए क्योंकि पपीते मीठा होता है और इसमें लेटक्स होता है। जो गर्भाशय के संकुचन को ट्रिगर कर सकता है। इसकी वजह से प्रसव जल्दी भी हो सकता है। साथ ही इसमें पपैन होता है जिसे शरीर प्रोस्टाग्लैंडीन समझने की भूल कर सकता है। यह आर्टिफिशियली रूप से लेबर इंड्यूस करने का काम करता है। इसके अलावा पपीते के सेवन से भ्रूण को सहारा देने वाली झिल्ली को भी कमजोर बना देता है। हालांकि यह ज्यादातर कच्चे पपीते में ही देखा जाता है।



​अनियंत्रित हार्टबीट वाले लोग
​अनियंत्रित हार्टबीट वाले लोग

यूं तो पपीते के सेवन से हृदय रोग के खतरों को कम किया जा सकता है। लेकिन अगर आप पहले से ही इरेगुलर हार्टबीट की समस्या से पीड़ित हैं तो आपको पपीते से दूरी बनाकर रखनी चाहिए। हाल ही में हुए अध्ययन बताते हैं कि पपीते के अंदर साइनोजेनिक ग्लाइकोसाइड होता है, जो एक अमीनो एसिड है। यह आपके पाचन तंत्र में हाइड्रोजन सायनाइड का उत्पादन करता है। हालांकि यह सेहत के लिए नुकसानदायक नहीं होता। लेकिन अगर आप पहले से ही इरेगुलर हार्टबीट की समस्या से पीड़ित हैं तो यह आपके लिए खतरनाक हो सकता है। इसके अलावा अगर कोई व्यक्ति हाइपोथायरायडिज्म से पीड़ित हैं तो भी पपीता आपको नुकसान पहुंचा सकता है।



​एलर्जी से पीड़ित लोगों के लिए
​एलर्जी से पीड़ित लोगों के लिए

ऐसे लोग जो लेटेक्स एलर्जी से पीड़ित हैं उनके लिए पपीता खाना नुकसानदायक होता है। आपको बता दें कि पपीते के अंदर एक एंजाइम होता है जिसे चिटिनेज कहा जाता है। यह एंजाइम लेटेक्स पर क्रॉस रिएक्शन कर सकता है। जिसकी वजह से छींक आना, सांस लेने में दिक्कत, खांसी, और आंखों में पानी आने की समस्या हो सकती है। ऐसे में अगर आपको एलर्जी है तो पपीता खाने से परहेज करें।



​किडनी में पथरी से पीड़ित लोगों के लिए
​किडनी में पथरी से पीड़ित लोगों के लिए

पपीता के अंदर की पोषक तत्व और गुण होते हैं। इनमें से एक है विटामिन सी। पपीते में विटामिन सी अधिक मात्रा में पाया जाता है जो कि एक रिच एंटीऑक्सीडेंट भी है। ऐसे में अगर आप पपीते का सेवन अधिक मात्रा में करते हैं तो यह किडनी में मौजूद पथरी की समस्या को बढ़ा सकता है। दरअसल इसके सेवन की वजह से कैल्शियम ऑक्सलेट की स्थिति उत्पन्न हो सकती है। इसमें व्यक्ति की किडनी में ही यह एक बड़े स्टोन का रूप ले लेता है। इसके बाद इस पथरी का पेशाब के जरिए बाहर निकलना भी मुश्किल हो जाता है।



​हाइपोग्लाइसीमिया वाले लोग
​हाइपोग्लाइसीमिया वाले लोग

मधुमेह से पीड़ित मरीजों के लिए पपीता का सेवन फायदेमंद होता है। यह रक्त शर्करा के स्तर को कम करने या मैनेज करने में मदद करता है। लेकिन जिन लोगों का रक्त शर्करा स्तर पहले से ही कम है या जो हाइपोग्लाइसीमिया की समस्या से पीड़ित हैं, लिए यह अच्छा विकल्प नहीं है। आपको बता दें कि पपीता खाने में मीठा होता है और यह ग्लूकोज के स्तर को कम करने का काम करता है। ऐसे में वह लोग जो पहले से ही इस समस्या से पीड़ित हैं। पपीता उनके ग्लूकोज के स्तर को एक खतरनाक स्थिति तक लेजा सकता है। जिसकी वजह से हार्ट बीट तेज होना, कंफ्यूज और कंपन जैसी समस्या पैदा हो सकती है।

डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। यह किसी भी तरह से किसी दवा या इलाज का विकल्प नहीं हो सकता। ज्यादा जानकारी के लिए हमेशा अपने डॉक्टर से संपर्क करें।





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