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Corona Test करवाएं तो जरूर पूछें अपनी CT value, यही बताएगी कि आप कोविड पॉजिटिव हैं या नहीं

April 30, 2021 at 12:47PM
कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने देश के लगभग सभी हिस्सों को प्रभावित कर दिया है। ऐसे में यह पता लगाया जा सके कि व्यक्ति कोरोना के किस म्यूटेंट से संक्रमित है, यह जानने के लिए RT-PCR टेस्ट का सहारा लिया जाता है। कोविड वायरस से व्यक्ति संक्रमित है या नहीं इसके लिए सैंपल की सीटी वैल्यू चेक की जाती है। कोविड वायरस का पता लगाने के लिए सीटी काउंट बेहद जरूरी होता है। आसान शब्दों में समझें तो कोरोना टेस्ट (Covid test) की रिपोर्ट पॉजिटिव या नेगेटिव है यह सीटी काउंट के आधार पर ही तय होता है।(फोटो साभार: BCCL and istock by getty images)

कोविड 19 का टेस्‍ट करवा रहे हैं, तो इसमें लिखी अपनी सीटी वैल्‍यू का पता जरूर कर लें। अगर मरीज की CT value कम होती है तो मरीज की स्थिति बेहद गंभीर होती है। अब लोग जानने की कोशिश में है कि सीटी काउंट होता क्या है। अगर आप भी जानना चाहते हैं तो पढ़िए


Corona Test करवाएं तो जरूर पूछें अपनी CT value, यही बताएगी कि आप कोविड पॉजिटिव हैं या नहीं

कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने देश के लगभग सभी हिस्सों को प्रभावित कर दिया है। ऐसे में यह पता लगाया जा सके कि व्यक्ति कोरोना के किस म्यूटेंट से संक्रमित है, यह जानने के लिए RT-PCR टेस्ट का सहारा लिया जाता है। कोविड वायरस से व्यक्ति संक्रमित है या नहीं इसके लिए सैंपल की सीटी वैल्यू चेक की जाती है।

कोविड वायरस का पता लगाने के लिए सीटी काउंट बेहद जरूरी होता है। आसान शब्दों में समझें तो कोरोना टेस्ट (Covid test) की रिपोर्ट पॉजिटिव या नेगेटिव है यह सीटी काउंट के आधार पर ही तय होता है।

(फोटो साभार: BCCL and istock by getty images)



​CT value क्या है और संक्रमण पता करने में कैसे करती है मदद
​CT value क्या है और संक्रमण पता करने में कैसे करती है मदद

कोविड टेस्ट के अंदर हमेशा सीटी वैल्यू दी जाती है। दरअसल सीटी वैल्यू कोरोना वायरस के संक्रमण की जानकारी प्रदान करती है। इसी के जरिए मरीजों को पता चलता है कि वह कोरोना से संक्रमित हैं या नहीं और अगर किसी व्यक्ति के अंदर कोरोना के लक्षण हैं तो उसकी स्थिति कितनी गंभीर है।



​अगर मरीज की सीटी वैल्यू कम हो तो?
​अगर मरीज की सीटी वैल्यू कम हो तो?

ऐसे में अगर मरीज की सीटी वैल्यू कम होती है तो मरीज की स्थिति बेहद गंभीर होती है। वहीं अगर सीटी वेल्यू थोड़ी ज्यादा होती है तो उसकी स्थिति को गंभीर नहीं माना जाता। इसके अलावा अगर कोरोना के लिए कराए गए RT-PCR टेस्ट में सीटी वैल्यू 35 होती है तो उस व्यक्ति की रिपोर्ट को नेगेटिव माना जाता है, यानी वह व्यक्ति कोरोना से संक्रमित नहीं है।

आपको बता दें कि सीटी वैल्यू तब तय की जाती है जब मरीज का सैंपल ले लिया जाता है और उसे कई राउंड में टेस्ट किया जाता है। वहीं आईसीएमआर की दिशा निर्देश बताते हैं कि RT-PCR टेस्ट के बाद तुरंत पता चल जाता है कि मरीज कोरोना से संक्रमित है या नहीं।

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​टेस्ट में सैंपल की जांच कब तक होती है
​टेस्ट में सैंपल की जांच कब तक होती है

सीटी का अर्थ होता है साइकिल थ्रेशहोल्ड, यह वायरस की मात्रा को जांचने का एक पैमाना है जो विशेषज्ञों द्वारा तय किया गया है। इसे इस तरह समझे व्यक्ति कोरोना वायरस से संक्रमित है या नहीं इसके लिए RT-PCR टेस्ट में सैंपल की जांच 35 राउंड तक की जाती है।

मरीज संक्रमित है उसका पता जिस राउंड में चलता है वही उसकी सीटी वैल्यू होती है। कोरोना वायरस के इस टेस्ट में अधिकतम 40 राउंड किए जाते हैं। जिसके आधार पर पता चल जाता है कि व्यक्ति संक्रमित है या नहीं।

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​सीटी वैल्यू से क्या पता लगता है?
​सीटी वैल्यू से क्या पता लगता है?

सीटी वैल्यू के जरिए ही पता चलता है कि मरीज की स्थिति कितनी गंभीर है। यानी उसके शरीर में कोरोना वायरस किस हद तक फैल गया है। अगर सीटी वैल्यू किसी सैंपल की कम हो तो उसकी स्थिति को अधिक गंभीर माना जाता है। जबकि अगर सीटी नंबर ज्यादा हो तो उस स्थिति को हल्का इंफेक्शन में ही गिना जाता है।



​कब पड़ती है चेस्‍ट स्‍कैनिंग की जरूरत
​कब पड़ती है चेस्‍ट स्‍कैनिंग की जरूरत

इसके अलावा सीटी काउंट देखने के लिए चेस्ट स्कैन का सहारा भी लिया जाता है। लेकिन ऐसा तब होता है जब व्यक्ति को समस्या हो लेकिन RT-PCR टेस्ट नेगेटिव ही आयी हो। ज्ञात हो कि आरटी पीसीआर टेस्ट में सैंपल मरीज के मुंह या नाक के जरिए लिया जाता है, इस टेस्ट में आई हुई नेगेटिव रिपोर्ट के बाद ही चेस्ट स्कैन के जरिए संक्रमण की स्थिति का पता लगाया जाता है। इसमें अगर सीटी काउंट अधिक होता है तो मरीज की स्थिति गंभीर होती है।

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​क्यों पता होनी चाहिए आपको अपनी सीटी वैल्यू?
​क्यों पता होनी चाहिए आपको अपनी सीटी वैल्यू?

कोरोना के इस समय में यह समझना थोड़ा मुश्किल जरूरी है कि सीटी वैल्यू कम होना अधिक खतरनाक है ना कि अधिक होना। ध्यान रहे कि सीटी वैल्यू जितनी कम होगी उतनी ही मरीज की स्थिति गंभीर होगी। जबकि जितना सीटी वैल्यू हाई होगा उतना ही मरीज सुरक्षित होगा।

ध्यान रहे अगर आपको कोरोना वायरस की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है तो इस बात का खास ध्यान रखें कि कम सीटी वैल्यू आपके लिए जानलेवा हो सकती है। वहीं अगर सीटी वैल्यू ज्यादा भी है और रिपोर्ट पॉजिटिव है तो इसे भी हल्के में नहीं लेना चाहिए। क्योंकि इसके जरिए दूसरे व्यक्ति को अधिक खतरा होता है और वह भी संक्रमित हो सकता है। ऐसे में कोरोना से संक्रमित व्यक्ति को और उसके घर वालों को किसी तरह की लापरवाही नहीं बरतनी चाहिए।

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